शिमला: तेज तर्रार महिला आईपीएस अधिकारी इल्मा अफरोज ने अपनी छुट्टी आगे बढ़ा दी है. एसपी बद्दी ने छुट्टी बढ़ाने के लिए आवेदन किया था. हिमाचल के पुलिस जिला बद्दी की एसपी इल्मा अफरोज के अचानक से छुट्टी पर जाने से सरकार चारों तरफ से सवालों से घिर गई थी. विपक्ष ने भी इल्मा अफरोज के छुट्टी पर जाने को लेकर प्रदेश की कांग्रेस पार्टी पर निशाना साधा था. सोशल मीडिया पर भी लोगों ने इस पर कई तरह की प्रतिक्रियाएं दी थीं.
एसपी इल्मा ने 7 नवंबर को अचानक छुट्टी ली थी और वो अपना सामान समेट कर यूपी अपने घर मुरादाबाद चलीं गई थीं. दरअसल 7 नवंबर को सीएम सुक्खू की शिमला में प्रदेशभर के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक थी. इल्मा भी बैठक में भाग लेने के लिए गईं थी, लेकिन इल्मा इसी रात को अपना सामान पैक कर छुट्टी पर उत्तर प्रदेश स्थित अपने घर लौट गईं.
5 दिसंबर तक बढ़ाई छुट्टी
इल्मा को छुट्टी पर गए 22 दिन हो गए हैं. आईपीएस इल्मा अफरोज पहले 21 नवम्बर तक अवकाश पर गयी थीं. बाद में उन्होंने अवकाश को 28 नवम्बर तक बढ़ाया था, अब एक बार फिर उन्होंने 5 दिसंबर तक अपनी छुट्टी बढ़ा दी है. आईपीएस के इतनी लंबी छुट्टी जाने पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं.
शांता कुमार ने उठाए थे सवाल
वहीं इस मामले पर शांता कुमार ने कहा था कि, ‘पुलिस अधीक्षक इल्मा अफरोज का रात के समय अपना सामान समेट कर बद्दी से चले जाना एक रहस्य प्रतिदिन यह रहस्य और गंभीर होता जा रहा है. उन्हें विशेष रूप से शिमला बुलाया गया था और उसके बाद वो बद्दी आई, रात के समय सामान समेटा और अपने घर चली गईं. यदि उसने कोई अपराध किया है, जिसके कारण उसे सरकार ने छुटटी पर भेजा है, तो ये सारी सच्चाई सरकार को जनता के सामने रखनी चाहिए, लेकिन यदि उसके अच्छे काम से कुछ प्रभावशाली लोग नाराज हो गये और उसी के कारण छुट्टी पर भेजा गया है तो यह बड़ी गंभीर बात है.’
सरकार ने रखा था अपना पक्ष
इस पर सरकारी प्रवक्ता ने भी अपना पक्ष रखते हुए कहा था कि, ‘छुट्टी पर जाने से पहले अफरोज अपनी माता के साथ मुख्यमंत्री के साथ शिमला में मिली थीं. उन्होंने माता जी की तबियत ठीक नहीं होने का हवाला देकर छुट्टी पर जाने की बात कही थी. उनकी छुट्टी को लेकर तरह-तरह की अफवाहें सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही हैं. सोशल मीडिया पर फैलाया जा रहा झूठ तथ्यों के विपरीत है. आईपीएस अधिकारी मुख्यमंत्री को बताकर छुट्टी पर गई हैं.’
रसूखदार नेता के साथ चल रही थी अनबन
बद्दी में एसपी रहते हुए इल्मा ने कानून व्यवस्था को सुधारने के लिए उन्होंने नशा और खनन माफिया के खिलाफ सख्त कार्रवाई की थी. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक उन्होंने एक विधायक की पत्नी की गाड़ी का चालान काट दिया था. आरोप है कि ये वाहन खनन गतिविधियों में इस्तेमाल हो रहा था. चालान काटने के बाद विधायक उनसे नाराज चल रहे थे. एसपी इल्मा अफरोज ने बद्दी-दून क्षेत्र में अवैध खनन गतिविधियों के खिलाफ कार्रवाई के बाद कुछ लोगों पर जुर्माना भी लगाया गया था. पुलिस ने अवैध खनन को लेकर छापेमारी भी की और खनन के लिए इस्तेमाल की जाने वाली मशीनें जब्त कर ली थीं. इससे एक विधायक नाराज बताए जा रहे थे. बताया जा रहा है कि इसकी शिकायत उन्होंने ऊपर तक की थी. विधायक और आईपीएस इल्मा अफरोज के बीच तकरार बढ़ गई थी.
हाईकोर्ट ने तबादले पर लगाई है रोक
हिमाचल में सोलन जिले के तहत पुलिस जिला बद्दी की एसपी इल्मा अफरोज के तबादले पर हाईकोर्ट ने रोक लगाई है. हाईकोर्ट ने एक मामले में पुलिस की निष्पक्ष जांच न होने के आरोप में कड़ा संज्ञान लिया था. कोर्ट ने पुलिस जिला बद्दी के तहत आने वाले पुलिस स्टेशनों के कामकाज में खामियां पाई थीं, लेकिन साथ ही ये भी कहा है कि वहां एसपी बद्दी ही एकमात्र पुलिस अफसर हैं, जिन पर अदालत भरोसा कर सकती है. बता दें कि इल्मा अफरोज यूपी के मुरादाबाद की रहने वाली हैं. ऑक्सफोर्ड में पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्हें विदेश में नौकरी के भी ऑफर मिले, लेकिन उन्होंने सिविल सेवा में जाने का मन बनाया और 2017 में उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा पास की थी.